गुरुवार, 11 अगस्त 2011

आगे महंगाई की मार पीछे मंदी की तलवार

महंगाई की मार लगातार लोगों पर बढ़ती जा रही है। 30 जुलाई को खत्म हुए हफ्ते में खाद्य महंगाई दर 9.9 फीसदी पर पहुंच गई। जो कि साढ़े चार महीनों का उच्चतम स्तर है। इससे पहले हफ्ते में ये दर 8.04 फीसदी थी। प्राइमरी आर्टिकल्स यानी आवश्यक वस्तुओं की महंगाई दर 12.22 फीसदी पर पहुंच चुकी है। जो 23 जुलाई को खत्म हुए हफ्ते में 10.22 फीसदी थी। जबकि फ्यूअल और पावर की महंगाई दर मामूली इजाफा हुआ है। महंगाई पर लगाम लगाने की सरकार की तमाम कोशिशें नाकाम साबित हो रही हैं। आने वाले दिनों में सरकार की मश्किलें और बढ़ने वाली हैं। क्योंकि एक तरफ लगातार महंगाई बढ़ रही है वहीं दूसरी तरफ देश की अर्थव्यवस्था पर मंदी की तलबार लटक रही है। क्योंकि देश में लगातार डिमांड में कमी होती जा रही है। अगर सरकार डिमांड बढ़ाने की कोशिश करती है तो महंगाई और बढ़ेगी। दूसरी ओर अगर सरकार महंगाई पर लगाम लगाने की कोशिश में कर्ज और महंगी करती है तो डिमांड और गिरेगी। यानी सरकार के सामने आगे खाई है और पीछे कुआं।

1 टिप्पणी:

बेनामी ने कहा…

aise hi log sar pakad kar ro rahe hain mahangai ke samne.